ज़िन्दगी का व्यंग्य देखिए
जैसे ही मेरे हाथ ग्रीस से सने
मेरा नाक पर खुजली करने का मन सा बने
ज़िन्दगी का व्यंग्य देखिए
जो ना चाहते वही देखिए
जैसे ही मेरे हाथ ग्रीस से सने
मेरा नाक पर खुजली करने का मन सा बने
ज़िन्दगी का व्यंग्य देखिए
जो ना चाहते वही देखिए
फोन पर थी मेरी दोस्त वंदना
कहती देखे वक़्त की विड़बना
मेरे साथ घटी अजीब सी घटना
क्या मुझ पर ही था ये पहाड़ फटना ?